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16 Comments

  1. vickky
    May 5, 2018 @ 3:12 pm

    पूरा आवभगत होगया की कुछ तगादा नही किंहये
    बढ़िया कहानी???
    अंतिम में 20 ₹ देना अच्छा लगा??

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  2. आनंद कुमार सिंह
    May 5, 2018 @ 3:51 pm

    Mind blowing. लेखक को नमन। शब्द कम पड़ रहे हैं तारीफ में। बस इतना समझ लीजिए कि ऐसी लेखनी अरसे में कभी कभार आती है।

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    • Kundan Yadav
      May 5, 2018 @ 6:21 pm

      आपके शब्दों से अभिभूत हूं आनंद जी बहुत-बहुत शुक्रिया

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  3. alok verma
    May 5, 2018 @ 4:08 pm

    बेहतरीन जैसे सब कुछ हमारे सामने ही रहा था। इन पात्रों में खुद का अक्श दिखा

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  4. PARAMJIT
    May 5, 2018 @ 4:31 pm

    क्या बात है I बिना रुके पढ़ता चला गया I एक एक प्रसंग दिल को छूने वाला I शानदार और गजब का प्रस्तुतीकरण I HATS OFF TO YOU SIR.

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  5. Hareesh Gupta
    May 5, 2018 @ 4:42 pm

    अच्छी कहानी। लेकिन इतने प्रयास के बाद भी तगादा न हुआ, आवाभगत का असर। सस्पेंस रह गया।

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    • Kundan Yadav
      May 5, 2018 @ 5:58 pm

      धन्यवाद हरीश जी अगर तगादा हो ही जाता तो फिर आवभगत किस बात की?

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  6. mahendra singh
    May 5, 2018 @ 5:23 pm

    बहुत अच्छी कहानी
    मुंशी जी की झलक मिलती है लेखन
    बहुत अरसे बाद ऐसी कहानी पढ़ने को मिली
    लेखक बधाई के पात्र हैं

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  7. Ganga Prasad
    May 5, 2018 @ 5:56 pm

    अति सुंदर । बनारस का ठेठ अन्दाज़, गँवाई संस्कृति , छोटी छोटी चीज़ों जैसे लोटा माँजना, चाय वाले को डाँटना, बंदूक़ पकड़ने के अन्दाज़ का बयान और चरखने की लूँगी मुर्ग़ा रखने का अन्दाज़। बहुत ख़ूब सब अलटेरन साहित्य का अनूठा उदाहरण ।।लिखते रहिए बहुत ख़ूब ।।

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  8. Puneet Kumar dubey
    May 5, 2018 @ 7:29 pm

    कहानी दिल को छू गई कहानी।

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  9. Ram jatan yadav
    May 6, 2018 @ 4:24 pm

    कहानी ने दिल को छू लिया पढ़ते समय लगा सब कुछ सामने ही घटित हो रहा भाषा का गजब बनारसी अंदाज।

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  10. Hitesh Rohilla
    May 8, 2018 @ 2:27 am

    Bahut badhiya likha janab. Padh k achcha lga.

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  11. Maya Yadav
    May 14, 2018 @ 10:32 pm

    Beautiful story, written in a beautiful way… pictorial description of aavbhagat a satire on the society..hats off to the author.

    Reply

  12. Maya Yadav
    May 14, 2018 @ 10:42 pm

    Of k baad aavbhagat h

    Reply

  13. Nishi kant
    May 18, 2018 @ 4:30 pm

    अति सुन्दर कहानी सर , पढ़ कर बहुत आनंद आया, आवाभगत का रोमांचित तरीका दिल को छू लिया

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  14. विक्की
    March 13, 2019 @ 8:03 pm

    बढ़िया आज दिखा पढ़ा और मजा ही आया
    और उ देसी मुर्गा 2 ठौ मजा आ गया???

    Reply

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