वो मेरे सामने बेड पर पड़ी थी. उसके शरीर पे कपड़े की एक धज्जी भी न थी. मैंने उसे देखा फिर अपने मुंह पे हाथ रख कर उबकाई रोकने की भरसक कोशिश की. वहां दवाइयों की गंध से मेरा सर पहले से ही चक्कर खा रहा था और अब ये वीभत्स नजारा. उफ्फ ! […]
26 अगस्त 2018 … मैं लिफ्ट के जरिये उपर चौथी मंजिल पर पहुंचा . मैंने एक फ्लैट के दरवाजे के सामने खड़े हो कर थोड़ी देर सोचा , फिर कॉलबेल पे ऊँगली रखी . तत्काल कहीं अन्दर एक मधुर घंटी की आवाज गूंजी . मेरे दिल की धड़कने अचानक पता नहीं क्यूँ तेज हो गई […]