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2 Comments

  1. विक्की
    February 10, 2019 @ 10:19 am

    बहुत अच्छा लगा ,खाली सा रविवार भी था आज, और ऐसे ही कहानिया भी पढ़ने का मन भी था | प्रेम के न मिलने पर व्यक्ति किस तरह से एकदम बेजार हो जाता | और प्रेम भी तो अजीब है एकतरफा तो और भी अजीब ???

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    • राजीव सिन्हा
      February 10, 2019 @ 10:22 am

      धन्यवाद. ये कहानियाँ भी शायद पसंद आएँ…
      https://sahityavimarsh.com/tag/love/

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