
भुवनेश्वर
Posts by भुवनेश्वर :

हाय रे, मानव हृदय!
स्मृति की धुँधली और गम्भीर छाया में आज वह छोटी-सी घटना उतनी प्रखर और उत्तेजित नहीं प्रतीत होती। आज जब इस प्रकाश ह्रास और अच्छाई के संसार से भागकर उस कुरूप अन्धकार में, उस उन्माद, उस उफान के साथ नयन खोलना चाहता हूँ, तब दम घुटने लगता है। आज का […]
श्यामा: एक वैवाहिक विडंबना
श्यामा पात्र अमरनाथ पुरी : आयु 30 वर्ष श्यामा : मिसेज पुरी अप्पी : मिस्टर पुरी का सहायक मनोज : 19 वर्ष का लड़का हीरा : अधेड़ बेयरा ( जॉर्ज टाउन में मिस्टर पुरी के भव्य बँगले का एक सुसज्जित कमरा। कमरे के दाहिनी ओर दीवार में एक द्वार है, […]
तांबे के कीड़े
पात्र: महिला अनाउंसर, रिक्शेवाला, थका अफसर, एक परेशान रमणी, एक मसरूफ पति, कुछ लड़के, पागल आया (यह नाटक ड्राइंगरूम के लिए ही है।) एक दीवार से जरा हटाकर काला स्क्रीन खड़ा किया गया है। जिसके बराबर अनाउंसर (जिसे स्त्री ही होना चाहिए) खड़ी है। अनाउंसर के कपड़े रंग-बिरंगे होते हैं। […]